Sunday, March 24, 2019

लोक कथा : माँ : प्रस्तुतकर्ता - टी. सुमति


माँ/ Mother



जब सर थॉमस एडिसन स्कूल में थे .... एक दिन वे घर आकर अपनी माँ से बोले....

माँ...टिचर ने तुम्हारे लिए ये चिट्ठी भेजी है।
उस चिट्ठी को पढ़ कर सर थॉमस की माँ की आँखों से आँसू टपकने लगें।

हैरान होकर सर थॉमस ने माँ से पूछा क्या हुआ माँ...टिचर ने क्या लिखा है...

आँसू पोंछते हुए उनकी माँ बोली...
लिखा है कि आपका बेटा जीनियस है...हमारा स्कूल बहुत छोटा है और शिक्षक बहुत प्रशिक्षत नहीं हैं....
इसे आप स्वयं शिक्षा दें...

कई वर्षों के बाद थॉमस की माँ का स्वर्गवास हो गया।

सर थॉमस एडिसन जगप्रसिद्ध वैज्ञानिक बन गए और उन्होंने कई महान आविष्कार किए।

एक दिन जब सर थॉमस अपने पारिवारिक वस्तुओं को देख रहें थें...उन्हें एक अलमारी में एक चिट्ठी मिली।
वो वही चिट्ठी थी।

पर जब सर थॉमस ने चिट्ठी खोल कर पढ़ीं...वे आश्चर्य चकित रह गए।
चिट्ठी में लिखा था – आपका बच्चा बौद्धिक तौर पर कमजोर है और उसे अब इस स्कूल में हम नहीं पढ़ा सकते।

सर थॉमस ये पढ़ कर घंटों तक रोते रहे...और अपनी डायरी में लिखा...
एक महान माँ ने बौद्धिक तौर पर कमजोर बच्चे को सदी का महान वैज्ञानिक बना दिया।

प्रस्तुतकर्ता – श्रीमती टी.सुमति
मुख्य कार्यालय प्रबंधक (नि.स)
एमएमटीसी लिमिटेड, क्षे.का. - चेन्नै

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